दिल्ली एमसीडी चुनावों में आम आदमी पार्टी की जीत के साथ उभरती चिंताएं,जानिए ऐसा क्या हुआ?

आप को बहुमत लेकिन घटता वोट प्रतिशत बढ़ा सकता है,अरविंद केजरीवाल की चिंताएं,एमसीडी चुनाव में आप ने शानदार जीत दर्ज की है,उसने 250 में से 134 सीटों पर कब्जा कर लिया है,चुनाव परिणाम में आप ने बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया है, लेकिन इस चुनाव में उसका वोट प्रतिशत घट गया,ऐसे में आप को यह मंथन करने की जरूरत है कि उनका वोट प्रतिशत क्यों गिरा? 

नई दिल्ली,नगर निगम चुनाव की तस्वीर स्पष्ट हो गई,आम आदमी पार्टी ने पिछले 15 साल से एमसीडी पर कब्जा जमाए भाजपा को उखाड़ फेंका,आप ने इस चुनाव में बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया,आप ने 134 सीटों पर जीत दर्ज कराई,वहीं भाजपा 104 सीटों,कांग्रेस 9 और 3 सीटों पर निर्दलीय अपनी जीत दर्ज करा पाए, वैसे यदि वोट प्रतिशत की बात की जाए तो आप का वोट प्रतिशत 42.05  प्रतिशत रहा जबकि भाजपा का 39.09 प्रतिशत और कांग्रेस का 11.68 प्रतिशत रहा।

आप मुख्यालय और सीएम अरविंद केजरीवाल के आवास पर लोगों का तांता लग गया है,खुशी का माहौल है, अपनी जीत पर अरविंद केजरीवाल ने कहा- दिल्ली के लोगों ने बड़ा संदेश दिया है, सकारात्मक राजनीति करो,नकारात्मक राजनीति नहीं करनी,सबसे कहता हूंँ,कि अहंकार मत करना,बड़ी-बड़ी सरकारें गिर जाती है,कई सारे पार्षद,विधायक,मंत्री बने हैं,कोई अहंकार न करे,अहंकार किया,तो ऊपर वाला कतई माफ नहीं करेगा।

उधर,दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा,कि दिल्ली की जनता ने 15 साल से जमी भ्रष्ट भाजपा सरकार को उखाड़कर केजरीवाल के नेतृत्व में आप की सरकार बनाने के लिए बहुमत दिया है,इसके लिए जनता का धन्यवाद,यह हमारे लिए बहुत बड़ी जिम्मेदारी भी है।

दिल्ली विधानसभा चुनाव के बाद अब एमसीडी चुनाव में आप का आना एक बड़ी उपलब्धि है,जैसा केजरीवाल चाहते थे,दिल्ली में डबल इंजन की सरकार बन गई,परन्तु यदि चुनावी नतीजों पर सही से ध्यान दिया जाए तो,ताजा परिणाम आम आदमी पार्टी के लिए चिंता भी पैदा कर सकते हैं,इस चुनाव में आप को मिले वोट प्रतिशत ही उसके लिए चिंताजनक है।

दरअसल 2020 के दिल्ली विधानसभा चुनाव में आप का वोट प्रतिशत 53.61 प्रतिशत था,उस चुनाव में भाजपा का वोट प्रतिशत 38.52 प्रतिशत और कांग्रेस का 4.25 प्रतिशत था,वैसे तो इस चुनाव में आप को सबसे ज्यादा वोट मिले थे,लेकिन 2015 की तुलना में उसका वोट प्रतिशत कुछ घट गया था,2015 में आप का वोट प्रतिशत 54.3 फीसदी था,जबकि भाजपा का 32.3 और कांग्रेस का 9.7 प्रतिशत था,यानी आप का वोट प्रतिशत एक फीसदी कम हो गया था। 

इसी तरह अगर 2020 विधानसभा चुनाव में आप को मिले वोट प्रतिशत की तुलना 2022 के एमसीडी में चुनाव में मिले वोट प्रतिशत से की जाए तो इस बार आप को अच्छा खासा नुकसान हुआ है,दो साल पहले जहाँ विधानसभा में आप का वोट प्रतिशत l 53.61 प्रतिशत था,वहीं इस बार एमसीडी चुनाव में यह आंकड़ा 42.05 प्रतिशत पर आकर सिमट गया है,यानी आप का वोट प्रतिशत सीधे 11.56 प्रतिशत तक घट गया है,इतनी बड़ी संख्या में वोटर का आप से मोह भंग होना आम आदमी पार्टी के लिए किसी खतरे के संकेत से कम नही है?

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